
सिविल कोर्ट में आरडीएक्स होने की सूचना से हड़कंप मच गया। प्रधान जिला जज कार्यालय में गुरुवार को एकई-मेल भेजा गया था। इसमें परिसर में विस्फोटक होने की जानकारी दी गई गई। जैसे ही इसकी सूचना पुलिस को दी गई कोर्ट परिसर को छावनी में तब्दील कर दिया गया। कोर्ट परिसर को खाली कराने के साथ पुलिस ने बम निरोधक दस्ता ने चप्पे-चप्पे की जांच की। हालांकि वहां कुछ संदिग्ध नहीं मिला। इसके बाद पुलिस अधिकारियों ने राहत की सांस ली। सिविल कोर्ट में इस वर्ष धमकी भरा मेल आने की यह तीसरी घटना है। डीएसपी टाउन-1 राजेश रंजन ने बताया कि ईमेल भेजने वाले का पता लगाने के
लिए साइबर सेल की मदद ली जा रही है। प्रधान जिला जज कार्यालय को भेजे गए ईमेल में सिविल कोर्ट परिसर में आरडीएक्स रखे होने की बात लिखी थी। यह भी चेतावनी दी गई कि जितनी जल्दी हो सके, परिसर को खाली कर दो। कार्यालय खुलने पर सुबह करीब 10.30 बजे ईमेल की सूचना पुलिस के वरीय अधिकारियों को दी गई। के अलावा बम और डॉग स्क्वायड की इसके बाद स्थानीय थाने की पुलिस टीम मौके पर पहुंची। पूरे परिसर में सघन जांच अभियान चलाया गया। मौके पर डीएसपी सहित वरीय अधिकारी भी पहुंचे। सुरक्षा घेरे में लेकर जजों को उनकी गाड़ी तक पहुंचाया गया। करीब
दो घंटे तर चले तलाशी अभियान में वहां का कामकाज ठप रहा। सुनवाई के लिए कुछ भी संदिग्ध सामान नहीं मिला। कोर्ट आए लोग लौट गए। वकील और जस्टिस मूवमेंट के अध्यक्ष अंजुम बारी ने बताया कि सिविल कोर्ट में लगातार इस तरह के मेल आ रहे हैं। यह खतरे का संकेत है। परिसर में कोई अप्रिय घटना न घटे इसके लिए कोर्ट की सुरक्षा बढ़ाए ने कहा कि कोर्ट की सुरक्षा व्यवस्था जाने की जरूरत है। वकील महेश रजक संतोषजनक नहीं है। सुरक्षा कर्मी आग लोगों की जांच तो करते हैं, लेकिन वकीलों की कोई जांच नहीं की जाती।